Sputum Culture Test

स्पूटम कल्चर टेस्ट क्या होता है?

स्पूटम कल्चर (Sputum Culture) टेस्ट एक प्रयोगशाला जांच है, जिसका उपयोग फेफड़ों (Lungs) और श्वसन तंत्र (Respiratory System) में संक्रमण का पता लगाने के लिए किया जाता है।

इस टेस्ट में बलगम (Sputum) का सैंपल लिया जाता है और जांच की जाती है कि उसमें बैक्टीरिया, वायरस या फंगस मौजूद हैं या नहीं।


1. स्पूटम कल्चर टेस्ट क्यों किया जाता है?

अगर किसी व्यक्ति को लगातार खांसी, बलगम, बुखार, सीने में दर्द या सांस लेने में तकलीफ हो रही हो, तो डॉक्टर इस टेस्ट की सलाह देते हैं।

यह टेस्ट निम्नलिखित संक्रमणों की जांच के लिए किया जाता है:
निमोनिया (Pneumonia)
टीबी (Tuberculosis – TB)
ब्रोंकाइटिस (Bronchitis)
फेफड़ों का फंगल इंफेक्शन (Fungal Infection in Lungs)
क्रोनिक ऑब्सट्रक्टिव पल्मोनरी डिजीज (COPD) से जुड़ा संक्रमण


2. स्पूटम कल्चर टेस्ट कैसे किया जाता है?

(A) सैंपल कलेक्शन (Sputum Sample Collection)

1️⃣ सुबह खाली पेट बलगम इकट्ठा करें – रातभर जमा हुआ बलगम सबसे अच्छा होता है।
2️⃣ मुंह साफ करें – सैंपल से पहले ब्रश करें और कुल्ला करें ताकि मुंह के बैक्टीरिया न मिलें।
3️⃣ गहरी खांसी के साथ बलगम निकालें

  • मुंह से नहीं, बल्कि फेफड़ों से बलगम निकालना ज़रूरी है।
  • बलगम को Sterile कंटेनर (विशेष साफ कंटेनर) में इकट्ठा करें।
    4️⃣ अगर खुद से बलगम न निकले – डॉक्टर नेब्युलाइजर (Nebulizer) या सलाइन सॉल्यूशन का उपयोग कर सकते हैं।
    5️⃣ कुछ मामलों में ब्रोंकोस्कोपी (Bronchoscopy) की जरूरत पड़ सकती है – जब सामान्य तरीके से बलगम न निकले।

3. लैब में बलगम की जांच कैसे की जाती है?

1️⃣ कल्चर टेस्ट:

  • बलगम को एक पोषक माध्यम (Culture Medium) में रखा जाता है और 37°C तापमान पर रखा जाता है।
  • 24-48 घंटे बाद बैक्टीरिया या फंगस बढ़ने लगते हैं।

2️⃣ ग्राम स्टेनिंग (Gram Staining):

  • बैक्टीरिया की पहचान करने के लिए स्पेशल डाई लगाई जाती है।
  • बैक्टीरिया के प्रकार – ग्राम पॉजिटिव (+) या ग्राम नेगेटिव (-) का पता चलता है।

3️⃣ एंटीबायोटिक सेंसिटिविटी टेस्ट:

  • यह जांचता है कि कौन-सी एंटीबायोटिक दवा बैक्टीरिया को खत्म कर सकती है।

4. स्पूटम कल्चर रिपोर्ट कैसे समझें?

नेगेटिव रिपोर्ट (-):

  • बलगम में कोई हानिकारक बैक्टीरिया या फंगस नहीं मिला।
  • इसका मतलब है कि फेफड़ों में संक्रमण नहीं है या संक्रमण का कारण बैक्टीरिया नहीं है।

पॉजिटिव रिपोर्ट (+):

  • बलगम में बैक्टीरिया, वायरस या फंगस मिले हैं।
  • रिपोर्ट में संक्रमण के कारण का नाम लिखा होगा, जैसे:
    • Streptococcus pneumoniae (निमोनिया का कारण)
    • Mycobacterium tuberculosis (टीबी का कारण)
    • Klebsiella pneumoniae (फेफड़ों का गंभीर संक्रमण)
    • Aspergillus (फंगल संक्रमण का कारण)
  • एंटीबायोटिक सेंसिटिविटी टेस्ट रिपोर्ट से डॉक्टर सही दवा चुन सकते हैं।

5. टेस्ट से पहले किन बातों का ध्यान रखें?

✔ रात में भारी खाना न खाएं और टेस्ट से पहले दूध न पिएं।
✔ ब्रश और कुल्ला करें लेकिन माउथवॉश का इस्तेमाल न करें।
✔ टेस्ट से पहले एंटीबायोटिक न लें, इससे रिपोर्ट गलत आ सकती है।
✔ अगर बलगम नहीं निकल रहा, तो गर्म पानी पिएं या भाप (Steam Inhalation) लें


6. स्पूटम कल्चर टेस्ट कब ज़रूरी होता है?

अगर आपको ये लक्षण लगातार 2-3 हफ्तों तक बने रहें, तो डॉक्टर से सलाह लें:

  • लगातार खांसी और बलगम
  • बलगम में खून आना
  • सांस लेने में तकलीफ
  • सीने में दर्द
  • लंबे समय तक बुखार

अगर सही समय पर टेस्ट कर लिया जाए, तो फेफड़ों के संक्रमण का जल्दी इलाज हो सकता है।

स्पूटम कल्चर टेस्ट में इस्तेमाल होने वाली मशीनें और केमिकल्स

स्पूटम कल्चर टेस्ट को करने के लिए विभिन्न मशीनों (Instruments) और रसायनों (Chemicals/Reagents) का उपयोग किया जाता है।


1. स्पूटम कल्चर के लिए उपयोग की जाने वाली मशीनें (Instruments Used in Sputum Culture)

(A) इन्क्यूबेटर (Incubator)

  • इस्तेमाल: बलगम सैंपल को 37°C तापमान पर रखने के लिए, ताकि बैक्टीरिया बढ़ सकें।
  • मॉडल: BOD Incubator, CO₂ Incubator

(B) ऑटोक्लेव (Autoclave)

  • इस्तेमाल: कल्चर प्लेट, टेस्ट ट्यूब और अन्य उपकरणों को स्टरलाइज़ (Sterilize) करने के लिए।
  • मॉडल: High-Pressure Steam Sterilizer

(C) माइक्रोस्कोप (Microscope)

  • इस्तेमाल: बैक्टीरिया की पहचान के लिए ग्राम स्टेनिंग (Gram Staining) या ज़ाइल-नीलसन स्टेनिंग (Ziehl-Neelsen Staining – TB Test) के बाद।
  • मॉडल: Light Microscope, Fluorescence Microscope

(D) कल्चर प्लेट (Petri Dish और Culture Media Plates)

  • इस्तेमाल: बैक्टीरिया को बढ़ाने के लिए।

(E) बायोसेफ्टी कैबिनेट (Biosafety Cabinet – BSC)

  • इस्तेमाल: सैंपल हैंडलिंग के दौरान बैक्टीरिया के फैलाव को रोकने के लिए।

(F) ऑटोमेटेड कल्चर सिस्टम (Automated Culture Systems – BACTEC, VITEK 2, GeneXpert)

  • इस्तेमाल: बैक्टीरिया की पहचान और एंटीबायोटिक सेंसिटिविटी टेस्ट के लिए।
  • उदाहरण:
    • BACTEC MGIT 960 – TB बैक्टीरिया की पहचान के लिए।
    • VITEK 2 Compact – बैक्टीरिया और एंटीबायोटिक संवेदनशीलता जांचने के लिए।
    • GeneXpert – टीबी (Tuberculosis) और अन्य संक्रमणों की पहचान के लिए।

2. स्पूटम कल्चर टेस्ट में इस्तेमाल होने वाले केमिकल्स (Chemicals Used in Sputum Culture)

(A) कल्चर मीडिया (Culture Media – बैक्टीरिया बढ़ाने के लिए)

(B) ग्राम स्टेनिंग (Gram Staining Reagents)

  • Crystal Violet – बैक्टीरिया को बैंगनी रंग में रंगने के लिए।
  • Gram’s Iodine – डाई को बैक्टीरिया के अंदर स्थिर करने के लिए।
  • Alcohol/Acetone (Decolorizer) – ग्राम-नेगेटिव बैक्टीरिया का रंग हटाने के लिए।
  • Safranin (Counter Stain) – ग्राम-नेगेटिव बैक्टीरिया को लाल रंग में दिखाने के लिए।

(C) ज़ाइल-नीलसन स्टेनिंग (Ziehl-Neelsen Stain) – TB टेस्ट के लिए

  • Carbol Fuchsin – Mycobacterium tuberculosis को लाल रंग में दिखाने के लिए।
  • Acid-Alcohol – अन्य बैक्टीरिया का रंग हटाने के लिए।
  • Methylene Blue – बैकग्राउंड को नीला करने के लिए।

(D) एंटीबायोटिक डिस्क (Antibiotic Sensitivity Discs)

  • बैक्टीरिया किस एंटीबायोटिक से मरेगा, यह जांचने के लिए।
  • उदाहरण: Penicillin, Amoxicillin, Ciprofloxacin, Vancomycin आदि।

निष्कर्ष

स्पूटम कल्चर टेस्ट में इन्क्यूबेटर, माइक्रोस्कोप, ऑटोमेटेड कल्चर सिस्टम (VITEK, BACTEC, GeneXpert) जैसी मशीनों का उपयोग होता है। वहीं, बैक्टीरिया की पहचान के लिए ग्राम स्टेनिंग, ज़ाइल-नीलसन स्टेनिंग, और विभिन्न कल्चर मीडिया (Blood Agar, MacConkey Agar, LJ Medium) का उपयोग किया जाता है।

अगर डॉक्टर ने स्पूटम कल्चर टेस्ट की सलाह दी है, तो यह टेस्ट फेफड़ों के संक्रमण का सही कारण जानने में मदद करता है और उचित इलाज सुनिश्चित करता है।

स्पूटम कल्चर टेस्ट की रिपोर्ट कैसे समझें?

स्पूटम कल्चर टेस्ट की रिपोर्ट यह बताती है कि बलगम में किस प्रकार के बैक्टीरिया या फंगस मौजूद हैं और उनका इलाज किस एंटीबायोटिक से किया जा सकता है। इसे समझने के लिए नीचे दिए गए पॉइंट्स को ध्यान में रखें।


1. स्पूटम कल्चर रिपोर्ट के मुख्य भाग

(A) कल्चर रिजल्ट (Culture Result)

➡️ नेगेटिव रिपोर्ट (-) :

  • अगर रिपोर्ट में लिखा है “No Growth” (कोई वृद्धि नहीं) या “Normal Respiratory Flora” (सामान्य बैक्टीरिया पाए गए), तो इसका मतलब है कि संक्रमण नहीं है
  • फेफड़ों में मौजूद बलगम में कोई हानिकारक बैक्टीरिया या फंगस नहीं मिला।

➡️ पॉजिटिव रिपोर्ट (+) :

  • अगर रिपोर्ट में किसी बैक्टीरिया या फंगस का नाम लिखा है, तो इसका मतलब है कि संक्रमण मौजूद है।
  • रिपोर्ट में बैक्टीरिया की संख्या (Colony Forming Units – CFU/mL) भी लिखी होती है।
  • आमतौर पर 10⁴ CFU/mL से ज्यादा होने पर संक्रमण की पुष्टि होती है।

(B) बैक्टीरिया या फंगस का नाम (Identified Pathogen)

अगर रिपोर्ट पॉजिटिव है, तो इसमें संक्रमण का कारण बनने वाले जीवाणु (Bacteria) या फंगस (Fungus) का नाम दिया जाता है।

आम बैक्टीरिया और उनके संभावित रोग:
| बैक्टीरिया का नाम | संक्रमण से जुड़ी बीमारी |
|—————-|———————-|
| Streptococcus pneumoniae | निमोनिया (Pneumonia) |
| Klebsiella pneumoniae | गंभीर फेफड़ों का संक्रमण |
| Mycobacterium tuberculosis | टीबी (Tuberculosis – TB) |
| Pseudomonas aeruginosa | क्रोनिक फेफड़ों का संक्रमण (जैसे COPD में) |
| Haemophilus influenzae | ब्रोंकाइटिस और निमोनिया |

फंगल संक्रमण (Fungal Infection) के आम कारक:
| फंगस का नाम | संक्रमण से जुड़ी बीमारी |
|—————|——————–|
| Aspergillus | एस्परगिलोसिस (फेफड़ों में फंगल संक्रमण) |
| Candida albicans | कैंडिडियासिस (कमज़ोर इम्यून सिस्टम वाले मरीजों में) |

(C) एंटीबायोटिक सेंसिटिविटी टेस्ट (Antibiotic Sensitivity Test – AST)

➡️ यह टेस्ट बताता है कि कौन-सी एंटीबायोटिक दवा बैक्टीरिया को मार सकती है।
➡️ रिपोर्ट में 3 प्रकार के रिजल्ट दिए जाते हैं:

✔ उदाहरण:
अगर रिपोर्ट में लिखा है:

  • Ceftriaxone – S → इसका मतलब है कि यह दवा बैक्टीरिया को खत्म कर सकती है।
  • Amoxicillin – R → इसका मतलब है कि यह दवा बैक्टीरिया पर असर नहीं करेगी।

➡️ डॉक्टर S (Sensitive) वाली एंटीबायोटिक दवा देंगे ताकि संक्रमण ठीक हो सके।

(D) रिपोर्ट पर टीबी (TB) का उल्लेख हो सकता है या नहीं?

  • सामान्य स्पूटम कल्चर टेस्ट में Mycobacterium tuberculosis (टीबी का कारण) नहीं पाया जा सकता।
  • अगर डॉक्टर को टीबी का शक है, तो वे GeneXpert MTB/RIF, AFB स्मीयर या TB कल्चर टेस्ट करवाने की सलाह देंगे।

2. रिपोर्ट पढ़ने का उदाहरण (Sample Report Explanation)

इस रिपोर्ट के अनुसार, मरीज को Klebsiella pneumoniae संक्रमण है, और इलाज के लिए Ceftriaxone एंटीबायोटिक दी जा सकती है।


3. रिपोर्ट के आधार पर आगे क्या करें?

अगर रिपोर्ट नेगेटिव है: तो डॉक्टर अन्य कारणों की जांच कर सकते हैं।
अगर बैक्टीरिया या फंगस पाया गया है: तो डॉक्टर रिपोर्ट में दी गई संवेदनशील (Sensitive – S) एंटीबायोटिक देंगे।
अगर TB का शक है: तो डॉक्टर GeneXpert, TB Culture या AFB टेस्ट करवा सकते हैं।
रिपोर्ट समझने में दिक्कत हो रही है? तो डॉक्टर से सलाह लें, क्योंकि सही इलाज रिपोर्ट के आधार पर ही हो सकता है।


निष्कर्ष

स्पूटम कल्चर रिपोर्ट में संक्रमण के कारण (बैक्टीरिया/फंगस), उनकी संख्या, और सही एंटीबायोटिक की जानकारी दी जाती है। अगर रिपोर्ट में बैक्टीरिया नहीं मिला तो संक्रमण नहीं है, लेकिन अगर बैक्टीरिया या फंगस मिला है तो डॉक्टर उसके अनुसार एंटीबायोटिक देंगे।

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