E-Test (Epsilometer Test): To measure the sensitivity of fungus to antifungal drugs.
E-Test (Epsilometer Test) – एंटीफंगल संवेदनशीलता परीक्षण
1. यह टेस्ट क्यों किया जाता है?
E-Test (Epsilometer Test) एक विशेष तकनीक है जो यह जांचने के लिए की जाती है कि कोई फंगस (Fungus) एंटीफंगल दवाओं के प्रति कितना संवेदनशील (Sensitive) या प्रतिरोधी (Resistant) है।
- एंटीफंगल दवाओं का सही चयन करने के लिए: यह पता चलता है कि कौन-सी दवा संक्रमण को प्रभावी रूप से रोक सकती है।
- एंटीफंगल प्रतिरोध (Antifungal Resistance) का पता लगाने के लिए: यदि फंगस किसी दवा के प्रति प्रतिरोधी (Resistant) हो चुका है, तो यह टेस्ट वैकल्पिक दवा चुनने में मदद करता है।
- सटीक MIC (Minimum Inhibitory Concentration) का निर्धारण करने के लिए: यह दवा की न्यूनतम मात्रा बताता है, जो संक्रमण को रोकने के लिए आवश्यक है।
2. इस टेस्ट से किन बीमारियों का पता चलता है?
E-Test मुख्य रूप से निम्नलिखित फंगल संक्रमणों के इलाज के लिए सही एंटीफंगल दवा चुनने में मदद करता है:
- कैंडिडायसिस (Candidiasis) – Candida albicans, Candida glabrata, Candida krusei
- एस्परगिलोसिस (Aspergillosis) – Aspergillus fumigatus, Aspergillus flavus
- क्रिप्टोकोकोसिस (Cryptococcosis) – Cryptococcus neoformans
- हिस्टोप्लास्मोसिस (Histoplasmosis) – Histoplasma capsulatum
- म्यूरकोमाइकोसिस (Mucormycosis / Black Fungus) – Mucor, Rhizopus
- डर्माटोफाइटोसिस (Dermatophytosis / Ringworm) – Trichophyton, Microsporum, Epidermophyton
3. E-Test कैसे किया जाता है?
(A) सैंपल कलेक्शन (Sample Collection)
- ब्लड, यूरिन, ब्रोंकोएल्विओलर लैवेज (BAL), स्किन स्क्रैपिंग, या फंगल कल्चर से लिए गए सैंपल का उपयोग किया जाता है।
- पहले फंगस को Sabouraud Dextrose Agar (SDA) या Chromogenic Agar पर कल्चर किया जाता है।
(B) टेस्ट प्रक्रिया (Test Procedure)
- फंगल सस्पेंशन तैयार करना:
- फंगस को 0.5 McFarland स्टैंडर्ड (लगभग 1×10⁶ CFU/mL) घोल में तैयार किया जाता है।
- मीडिया पर इनोक्यूलेशन:
- Mueller-Hinton Agar (MHA) या RPMI-1640 Agar पर फंगल सस्पेंशन फैलाया जाता है।
- E-Test स्ट्रिप लगाना:
- टेस्ट एंटीबायोटिक की E-Test स्ट्रिप (जो एंटीफंगल की बढ़ती सांद्रता (gradient) दिखाती है) को कल्चर प्लेट पर रखा जाता है।
- इन्क्यूबेशन (Incubation):
- प्लेट को 35-37°C पर 24-48 घंटे तक इन्क्यूबेट किया जाता है।
- रिजल्ट इंटरप्रिटेशन:
- जहां फंगस का विकास रुक जाता है, उस पॉइंट पर MIC (Minimum Inhibitory Concentration) को मापा जाता है।
4. E-Test के लिए उपयोग की जाने वाली मशीनें
- इन्क्यूबेटर (Incubator) – 35-37°C पर फंगल कल्चर बढ़ाने के लिए
- लूप और स्प्रेडर – सैंपल फैलाने के लिए
- Mueller-Hinton Agar या RPMI-1640 Agar प्लेट
- E-Test Strips – विभिन्न एंटीफंगल ड्रग्स के लिए
- लाइट माइक्रोस्कोप – फंगल ग्रोथ पैटर्न देखने के लिए
5. E-Test के लिए उपयोग किए जाने वाले रसायन (Reagents)
- Mueller-Hinton Agar या RPMI-1640 Agar – फंगस के विकास के लिए
- E-Test Strips – एंटीफंगल दवाओं की अलग-अलग सांद्रता के साथ
- फंगल सस्पेंशन बनाने के लिए Normal Saline / McFarland Standard
- Sabouraud Dextrose Agar (SDA) या Chromogenic Agar – प्रारंभिक कल्चर के लिए
6. रिपोर्ट कैसे पढ़ें और समझें?
(A) नेगेटिव रिपोर्ट (Sensitive – Susceptible to Drug)
- यदि फंगस का विकास पूरी तरह से रुक जाता है और MIC वैल्यू कम है, तो इसका मतलब फंगस उस दवा से मर जाएगा।
- उदाहरण:
- Candida albicans का MIC < 1 µg/mL → Fluconazole दवा प्रभावी होगी।
- Aspergillus fumigatus का MIC < 2 µg/mL → Voriconazole दवा प्रभावी होगी।
(B) पॉजिटिव रिपोर्ट (Resistant – दवा बेअसर है)
- अगर फंगस टेस्ट ड्रग के उच्च MIC (Minimum Inhibitory Concentration) पर भी बढ़ता रहता है, तो इसका मतलब है कि वह दवा उस फंगस के खिलाफ असरदार नहीं होगी।
- उदाहरण:
- Candida krusei का MIC > 8 µg/mL → Fluconazole बेअसर, Caspofungin देना चाहिए।
- Aspergillus flavus का MIC > 4 µg/mL → Voriconazole बेअसर, Amphotericin B देना चाहिए।
Case Study Example:
एक मरीज को इनवेसिव कैंडिडायसिस (Invasive Candidiasis) था।
E-Test किया गया, और Fluconazole का MIC = 16 µg/mL पाया गया (Resistant)।
Caspofungin का MIC = 0.5 µg/mL पाया गया (Sensitive)।
इसलिए Fluconazole हटाकर Caspofungin से इलाज शुरू किया गया, जिससे मरीज की स्थिति में सुधार हुआ।
7. बीमारी का उपचार (Treatment of Fungal Infections)
(A) जब फंगस एंटीफंगल के प्रति संवेदनशील हो (Sensitive to Drug)
- Fluconazole, Voriconazole, Itraconazole, Amphotericin B, Echinocandins (Caspofungin, Micafungin) जैसी दवाएँ दी जाती हैं।
(B) जब फंगस एंटीफंगल के प्रति प्रतिरोधी हो (Resistant to Drug)
- दवा बदली जाती है:
- Fluconazole Resistant Candida → Caspofungin / Amphotericin B
- Voriconazole Resistant Aspergillus → Amphotericin B / Posaconazole
- Higher dose या Combination Therapy दी जाती है।
8. निष्कर्ष
✅ E-Test फंगल संक्रमण के लिए सही एंटीफंगल दवा चुनने में मदद करता है।
✅ यह टेस्ट विशेष रूप से ड्रग-रजिस्टेंट (Drug-Resistant) फंगल संक्रमण में महत्वपूर्ण है।
✅ MIC वैल्यू के आधार पर डॉक्टर इलाज को ऑप्टिमाइज़ कर सकते हैं।
✅ तेजी से निदान और सही दवा से मरीज की जान बचाई जा सकती है।
अगर किसी मरीज में एंटीफंगल ट्रीटमेंट फेल हो रहा है, तो E-Test से सही दवा की पहचान की जा सकती है।